संघ लोक सेवा आयोग
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संघ लोक सेवा आयोग या अंग्रेज़ी में यूनियन पब्लिक सर्विस कमीशन (Union Public Service Commission - UPSC) भारत के संविधान द्वारा स्थापित एक संस्था है जो भारत सरकार के लोकसेवा के पदाधिकारियों की नियुक्ति के लिए परीक्षाएं संचालित करती हैं। संविधान के अनुच्छेद 315-323 में एक संघीय लोकसेवा आयोग और राज्यों के लिए राज्य लोक सेवा आयोग के गठन का प्रावधान है।
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[बदलें] इतिहास
उच्च सिविल सेवाओं का भारतीयकरण राजनैतिक आंदोलन की प्रमुख मांग बन गई जिसने ब्रिटिश इंडिया गवर्नमेंट को उसकी सेवाओं के लिए राज्य क्षेत्र में एक लोक सेवा आयोग के गठन पर विचार करने पर बाध्य कर दिया। प्रथम लोक सेवा आयोग की स्थापना 1 अक्टूबर, 1926 को हुई। तथापि,परामर्श देने के इसके सीमित कार्यों से जनता की आशाएं पूरी न हो सकीं तथा भारतीय स्वतंत्रता आंदोलन के नेताओं द्वारा इस तथ्य पर निरंतर बल दिए जाने के परिणामस्वरूप, भारत सरकार अधिनियम, 1935 के अंतर्गत फैडरल पब्लिक सर्विस कमीशन का गठन किया गया।
इस अधिनियम के अंतर्गत, पहली बार, प्रांतीय स्तर पर लोक सेवा आयोगों के गठन का भी प्रावधान किया गया।
स्वतंत्रता के बाद, संविधान सभा ने अनुभव किया कि सिविल सेवाओं में निष्पक्ष भर्ती सुनिश्चित करने के साथ ही सेवा हितों की रक्षा के लिए संघीय एवं प्रांतीय, दोनों स्तरों पर लोक सेवा आयोगों को एक सुदृढ़ और स्वायत्त स्थिति प्रदान करने की आवश्यकता है । स्वतंत्र भारत के लिए 26 जनवरी, 1950 को नये संविधान के प्रवर्तन के साथ ही फैडरल पब्लिक सर्विस कमीशन को एक स्वायत्त सत्ता के रूप में संवैधानिक दर्जा प्रदान किया गया और संघ लोक सेवा आयोग का नाम दिया गया।
[बदलें] सदस्य
आयोग के सदस्य राष्ट्रपति द्वारा नियुक्त होते हैं। कम से कम आधे सदस्य किसी लोक सेवा के सदस्य (कार्यरत या अवकाशप्राप्त) होते हैं जो न्यूनतम 10 वर्षों के अनुभवप्राप्त हों। इनका कार्यकाल 6 वर्षों या 65 वर्ष की उम्र (जो भी पहले आए) तक का होता है। ये कभी भी अपना इस्तीफ़ा राष्ट्रपति को दे सकते हैं। इससे पहले राष्ट्रपति इन्हें पद की अवमानना या अवैध कार्यों में लिप्त होने के लिए बर्ख़ास्त कर सकता है।
[बदलें] कार्य
इसका प्रमुख कार्य केन्द्र तथा राज्यों की लोकसेवा के लिए सदस्यों का चयन करना है। इसके लिए यह विभिन्न परीक्षाएं संचालित करती है। इनमें से प्रमुख हैं -
- 1. सिविल सेवा (प्रारंभिक) परीक्षा (मई में)
- 2. सिविल सेवा (प्रधान)परीक्षा(अक्तूबर/नवम्बर में)
- 3. भारतीय वन सेवा परीक्षा (जुलाई में)
- 4. इंजीनियरी सेवा परीक्षा (जुलाई में)
- 5. भू-विज्ञानी परीक्षा(दिसम्बर में)
- 6. स्पेशल क्लास रेलवे अप्रेंटिसेज़ परीक्षा (अगस्त में)
- 7. राष्ट्रीय रक्षा अकादमी और नौसेना अकादमी परीक्षा (अप्रैल और सितम्बर में)
- 8. सम्मिलित रक्षा सेवा परीक्षा (मई और अक्तूबर में)
- 9. सम्मिलित चिकित्सा सेवा परीक्षा(फरवरी में)
- 10.भारतीय अर्थ सेवा/भारतीय सांख्यिकी सेवा परीक्षा (सितम्बर में)
- 11. अनुभाग अधिकारी/आशुलिपिक (ग्रेड ख/ग्रेड 1) सीमित विभागीय प्रतियोगिता परीक्षा (दिसम्बर में)
इसके अतिरिक्त राज्य लोक सेवा के अधिकारियों को संघ लोक सेवा से अधिकारी के रूप में भर्ती करना, भर्ती के नियम बनाना,विभागीय पदोन्नति समितियों का आयोजन करना, भारत के राष्ट्रपति द्वारा निर्दिष्ट कोई अन्य मामला सुलझाना इत्यादि इसके प्रमुख कार्य हैं।